Globalisation- प्रवाह=पूंजी/श्रम/शिक्षा/कला/साहित्य/तकनीक/सुरक्षा+हथियारों/संस्कृति/काचा माल/खाधानो/मशीनरी/निवेश/रोज़गार,उद्योग/BPP/KPO;
इतिहास: जब से इंसान आया, alaxzender(सिकंदर) के भारत आक्रमण फायदे हुए, सिक्के ढलने/तकनिकी/शास्त्र ज्ञान बढ़ा, ईस्ट इंडिया कंपनी; दास श्रमिक;
संस्थ्यें: World Trade Organisation=
नियंत्रण, न्यू GTAT, NAFTA, प्रभाव-१-औधोगिक-माल,२-वित्तिये, ३-आर्थिक, ४-राजनैतिक-रिश्ते सुधार, ५-सुचना-fiber optics, उपग्रह, इन्टरनेट, टेलीफोन, ६-प्रतियोगिता=से गुणवत्ता बढती है, ६-पर्यावरण-सुधार सम्भव, ७-सांस्कृतिक-सामाजिक, नकारात्मक प्रभाव- child/women labour, प्रताडित, गली, धमकी, मास्क्सवाद, बेरोज़गारी, लक्ष्य पूर्ति में समय, सांस्कृतिक हानी, देसी लघु उद्योग नुक्सान, बैंकों का निजीकरण-ब्याज दर में नुक्सान,सकल घरेलु उत्पाद(जीडीपी) में गिरावट, नियम थोपना; सकारात्मक प्रभाव: ऊपर लिखे हैं, सफल बनाने हेतु सुझाव-आन्दोलन, अन्तर राष्ट्रिये प्रयत्न/प्रशासन, श्रम कानूनों के सख्ती, कंपनी शोषण करे तो सामूहिक बहिष्कार- इन्टरनेट/website द्वारा companies को Blacklist करना; किसानों मजदूरों पर प्रभाव- १.चकाचौंध के कारण ग्रामीण युवा शहर की और, २-फक्ट्रिओं का खेती की आस पास लगना, ज़मीनों के बहुत ऊँचे दाम मिल जाते हैं, उन्नत तकनीक का ज्ञान होता, फसल निर्यात से लाभ, हस्तशिल्प/ग्रामीण कला/कशीदाकारी वस्त्र/चित्रकला-ऊँचे दामों में बिक्री; उदारीकरण=स्वस्थ नीतियाँ, सख्त नियंत्रण, सबको लाभ, सरकारी दीख रेख में;(UNIT-1) सतत विकास का उदय- 1-1960 से विकसित,
2-१९६२-राकल कार्सन 'the silent spring'=DDT पक्षी,
3-1968 में biologist-पाल इहरलीच- 'पोपुलेशन बम', जनसँख्या पर प्रकाश,
4-1969 में NGO= friends of the Earth पर्यावरण हेतु लोगों में जोश,
5-1971 में OECD-आर्थिक सहयोग तथा विकार संगठन=प्रदूषक खर्चा दे, प्रदूषक देशों को कीमत देनी चाहिए,
6-1972 - massachusetts institue of tech.= युवा वैज्ञानिकों क्लब= Limits to Growth - हलचल मच गई;
7.19७2 स्वीडेन राजधानी(
स्टोकहोम) सयुक्त राष्ट्र समेल्लन= गंभीरता से हुआ, तो UNEP=Unitd Nations Environ.Prog. का गठन,
8-सतत विकास अवधारणा- 1987 bratland आयोग रिपोर्ट = our common future से हुआ,
9. 1992= USSR में ब्राजील की राजधानी
रियो de ज्निरो में
पृथ्वी शिखर सम्मलेन हुआ= 182 देश 20,000 से अधिक प्रतिनिधिओं,
१०-२००२ में जोहान्सबर्ग में सतत- विश्व समेल्लन,
११-२००५-कनाडा - जलवायु परिवर्तन समेलन,
१२.२००६ में न्यूयार्क में वन विकास समेल्लन/२००७ Dec.- इंडोनेशिया के बलि द्वीप में जल्यायु परिवर्तन समेल्लन;
सतत विकास परिभाषा/अर्थ: १.जो हमेशा रहे, २.प्राकृतिक संसाधनों का सही संतुलन, ३.प्राकृतिक भण्डार बनाये रखना, ४-अंतरराष्ट्रिये सहयोग;
बरोट्लंड आयोग रिपोर्ट :१-पारिस्थितिक संतुलन, २-सिमित संसाधनों को नष्ट किए बिना उन्नति, ३.सतत विकास तथा सामाजिक और पर्यावरण विकास भी हो, कचरा प्रबंधन,
सतत विकास के उदेशेये: दूरगामी उदेशेये हैं,
१.natural संसाधनों दुरूपयोग बचाव;
२-वैज्ञानिक तकनीक,
३-स्थानिये समुदायों को इसमे शामिल करना,
४-संस्थाओं का विकेंद्रीकरण और पारदर्शिता,
५-international संस्थाओं की स्थापना=जिससे निर्धन को नुक्सान पहुंचाए बिना तरक्की,
६-लोगों का जीवन स्टार उठाना,
७-विश्व शान्ति बनाना जिससे की-पर्यावरण में सुधार; ८।जैव सम्पदा को ख़तम होने से बचाना;
सतत विकास के निर्देशक सिद्धांत- guiding principles of sustainable devp.:
1.ग्रहण क्षमता की अवधारणा(Concept of Carring Capacity); 1993-अमेरिकी वैज्ञानिक एल्डो लिओपोल्ड ने- अधिक चरने से चारागाह जमीन/कीटनाशकों प्रयोग से फसल/मिटटी नुकसान, प्रदुषण/जनसँख्या/वन विनाश/शहरीकरण;
२.अन्तरपीढीय समानता तथा न्याय- वर्तमान पीढी इतना उपयोग ना करें की आने वाली पीढीओं के लिए, जैसे- लकड़ी,पानी,कोयला,पेट्रोल, प्राक्रतिक गैस; वरना गरीबी/त्राहि बढेगी;
३-लैंगिक असमानता (gender Inequality)- महिलाएं प्रक्रति के नज़दीक-चिपको,एपिको,नर्मदा;
४-सामाजिक-सांस्कृतिक विविधता- स्थानीय लोग संरक्षक हैं- बहार के लोग संसाधनों का दोहन/शोषण करते- जैसे हिमालय में चिपको;
5-सतत विकास अन्तर राष्ट्रिये प्रयास-
A.स्टाकहोम सम्मलेन- 1972/sweeden-stockholm/सबसे पहिला international प्रयास, मुद्दे= प्रदुषण, रसैनिक कचरा, अंतराष्ट्रिये सहयोग, घोषणापत्र जारी उनेप गठन;
B. पर्यावरण/विकास विश्व आयोग स्थापना- १९८३ सयुंक्तराष्ट्र महासभा-नर्वे प्रधानमंत्री(GroHarlem Brundtland), report=our common future(1987)=सतत विकास;
5. रियो घोषणापत्र=३ जून 1992- ब्राजील राजध- रियो डी जेनीरो- पृथ्वी सम्मेलन(अब तक का सबसे बड़ा)-182 देश+20,000 से अधिक प्रतिनिधियों, मुद्दा=पर्यावरण/विकास, आम आदमी जरुरी;
6. जलवायु परिवर्तन पर रूपरेखा- रियो समेल्लन में 162 देशों हस्ताक्षर- ग्रीन हाउस प्रभाव/ग्लोबल warming/औधोगिक देश Co2 सन २००० तक 1990 स्तर पर लाओ, pradushanउदेश्ये= अन्तरराष्ट्रिये ढांचा बनाना+वन संरक्षण+जानकारी प्रकाशित करो+सुखा /बाढ़ को रहत दो;
7-रियो में जैव विविधता समझौता(5 Jun1992)- जनसँख्या=खतरा, जिव संरक्षण, लुप्त होती प्रजातियों-रक्षा+सकत कानून+वित्तिये सहायता+शिक्षा+वैज्ञानिक शोध, विकशित देश विकासशील देशों को मदद; वन संरक्षण सिधांत-=रियो सम्मलेन में एक समझौता-वन/वन्ये जीव संरक्षण, १-राष्ट्रों को वृक्षारोपण+आने वाली generations ध्यान+ वन संरक्षण; 8. रियो घोषणा=२७ सिधांत=१-मानव सतत विक का केन्द्र २-हर राष्ट्र पर्यावरण नीतियाँ बने, ३-भावी पीढियों रक्षा, ४-पर्यावरण संरक्षण, ५-निर्धनता दूर, ६-वैज्ञानिक खोज, ७-ज्ञान और तकनीक आपस में बांटें,
8-कार्यसूचि(agenda) 21-------- a.अन्तरराष्ट्रिये सहयोग,
b.अन्तरराष्ट्रिये नियम,
c.विकासशील देशों को तकनिकी सहायता,
d.अन्तरराष्ट्रिये संधियाँ करना,
e.NGO+आम जनता आगे आए,
f.सबका ध्यान रखें;
9.जोहानसबर्ग सम्मेलन-२००२ में सयुंक्त राष्ट्र में, सतत विकास पर पुनः जाँच+२ मुख्य दस्तावेज़ (१.जोहनास्बुर्ग घोषणापत्र+२.सतत विकास विश्व क्रियान्वयन योजना)
घोषणापत्र=
१.रियो एजेंडा २१ को लागु करना,
२.गरीबी,बूख, कुपोषण, सैनिक संघर्ष, पर काबू पाना,
३.स्थानिये लोगो प्रक्रति संरक्षण,
४.NGO/आम आदमी सहयोग;
कुछ पैमाने =
१.सुशासन,
२.गरीबी उन्मूलन,
३.विश्व शान्ति/मानग अधिकार,
४.नैतिक मूल्यों पर ज़ोर,
५.स्वस्थ उत्पादन,
६.प्राकृतिक संरक्षण,
10-क्योटो प्रोटोकोल(11-Dec.1997)- जापान के क्योटो शहर, बढ़ते तापमान पर सयुंक्त राष्ट्र द्वारा 1992 में Framework Convention on Climate Change (UNFCCC)गठन, ग्लोबल वार्मिंग/ग्रीन ह गसों कम करने हेतु अन्तरराष्ट्रिये समझौते वार्ता, 55 देशों हस्ताक्षर,
बाली सम्मेलन- सयुंक्त राष्ट्र नेत्रित्व में इंडोनेशिया-बलि द्वीप
में 3-14 Dec.2007 जलवायु परिवर्तन सम्मलेन, भारत के प्रोधोगिकी मंत्री कपिल सिब्बल, विश्व से 190 देश + 10,000 प्रतिनिधि/ सामाजिक कर्येकर्ता, कीनिया पर्यावरण मंत्री किवुथा किबवाना=अध्यक्ष, ग्लोबल वार्मिंग, पर्यावरण, ग्रीन हाउस गसों, 2009 तक समय सीमा तय,
मुख्य मुद्दे:
1-विकरालता को समझा+रोअद्माप तयार किया
2-समझौता तैयार किया जाएगा 1997 के क्योटो प्रोटोकॉल की जगह
3-२०१३ से हानिकारक गसों उत्सर्जन पर रोक,
४-विकासशील देशों को उर्जा खपत कम करने, उन्नत तकनीक प्रयोग, भारत ने commitment (वादा) नही किया, अमेरिका ने roadmap स्वीकार पर समझौता नही किया,
बलि सम्मलेन अवधि: 2012 कार्यकाल समाप्त,
अगली बैठक=2009 में डेनमार्क के कोपनेहेगें में,
सतत विकास के समक्ष चुनौतियाँ- १-बिना विकास रोके सुधार, २-गरीब देशों को क्या आमिर देशों से मदद मिलेगी,